दिल्ली, भारत ने 26 जनवरी को 76वां गणतंत्र दिवस बड़े उत्साह और गर्व के साथ मनाया। इस अवसर पर इंडोनेशिया के राष्ट्रपति प्रबोवो सुबियांतो मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने परेड का शुभारंभ सलामी लेकर किया। परेड में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, और अन्य वरिष्ठ अधिकारी शामिल रहे। इस भव्य समारोह में भारत की सैन्य ताकत और सांस्कृतिक विविधता का अद्भुत प्रदर्शन किया गया।
तीनों सेनाओं की झांकी में दिखा ‘सशक्त और सुरक्षित भारत’ का संदेश
गणतंत्र दिवस परेड में भारतीय थल सेना, नौसेना और वायुसेना की ताकत का प्रदर्शन किया गया। परेड में अर्जुन युद्धक टैंक, तेजस लड़ाकू विमान, और हल्के हेलीकॉप्टर जैसे स्वदेशी उपकरणों का प्रदर्शन किया गया। इन झांकियों का मुख्य विषय ‘सशक्त और सुरक्षित भारत’ था।
थल सेना ने टी-90 भीष्म टैंक, नाग मिसाइल सिस्टम, और ब्रह्मोस क्रूज मिसाइल का प्रदर्शन किया। वहीं, पिनाका रॉकेट लॉन्चर और आकाश मिसाइल प्रणाली ने दर्शकों को प्रभावित किया।
भारतीय नौसेना की झांकी और उसकी उपलब्धियां
नौसेना की टुकड़ी का नेतृत्व लेफ्टिनेंट कमांडर साहिल अहलूवालिया ने किया, जबकि झांकी में INS सूरत, INS नीलगिरि, और INS वाघशीर जैसे अत्याधुनिक जहाज शामिल थे। यह झांकी भारत की स्वदेशी युद्धपोत निर्माण क्षमता को दर्शाती है।
लेफ्टिनेंट कमांडर इंद्रेश चौधरी और लेफ्टिनेंट काजल अनिल भरानी भी नेतृत्व में शामिल रहे। यह प्रदर्शन भारत की नौसेना की ताकत को उजागर करने वाला था।
वायुसेना का फ्लाइपास्ट और उन्नत सैन्य प्रदर्शन
भारतीय वायुसेना ने अपनी ताकत का प्रदर्शन फ्लाइपास्ट के जरिए किया। वायुसेना की टुकड़ी में 144 जवान शामिल हुए, जिसका नेतृत्व स्क्वाड्रन लीडर महेंद्र सिंह गराती ने किया।
वायुसेना के मिग-29 लड़ाकू विमान ने ‘बाज फॉर्मेशन’ का अद्भुत प्रदर्शन किया। इसके अलावा, डीआरडीओ की झांकी में देश में विकसित प्रलय मिसाइल प्रणाली, आर्टिलरी गन, और ड्रोन निरोधक प्रणाली को प्रदर्शित किया गया।
सीआरपीएफ और बीएसएफ का जोश देखने लायक रहा
इस बार परेड में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) की 148 सदस्यीय महिला टुकड़ी ने हिस्सा लिया, जिसका नेतृत्व सहायक कमांडेंट ऐश्वर्या जॉय एम ने किया। उनकी उपस्थिति ने महिला सशक्तिकरण का संदेश दिया।
बीएसएफ ऊंट टुकड़ी ने भी अपनी परंपरा को निभाते हुए कर्तव्य पथ पर मार्च किया। इस टुकड़ी का नेतृत्व डिप्टी कमांडेंट मनोहर सिंह खीची ने किया।
असम राइफल्स और अन्य टुकड़ियों का योगदान
असम राइफल्स की टुकड़ी का नेतृत्व कैप्टन करणवीर सिंह कुंभावत ने किया। असम राइफल्स के प्रदर्शन ने दर्शकों को प्रभावित किया और भारत की उत्तर-पूर्वी सीमा की सुरक्षा में उनके योगदान को उजागर किया।
परेड में दिखी आधुनिक तकनीक की झलक
गणतंत्र दिवस परेड में मध्यम शक्ति रडार अरुध्रा, लेजर आधारित हथियार, और मानव रहित हवाई प्रणाली को प्रदर्शित किया गया। इसके अलावा, पहली बार स्वदेशी प्रलय मिसाइल प्रणाली का प्रदर्शन किया गया, जिसने भारत की सैन्य तकनीकी क्षमता को नए आयाम दिए।
कर्तव्य पथ पर इस बार का समारोह भारत की सैन्य ताकत, सांस्कृतिक विविधता और आत्मनिर्भरता का प्रतीक रहा। हर झांकी ने देश के विकास और उसकी रक्षा क्षमता को दर्शाया।